श्रृति गौतम:
हाल ही में दिल्ली यूनिवर्सिटी का मिरांडा हाउस कॉलेज देश में नंबर वन कॉलेज का खिताब जीत चुका है . मिरांडा हाउस गर्ल्स एजुकेशन के लिए दिल्ली यूनिवर्सिटी का एक जानामाना और प्रतिष्ठित कॉलेज है . देश की आजादी के बाद इस कॉलेज में महिलाओं की शिक्षित करने में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई.
एचआरडी मिनिस्ट्री की राष्ट्रीय रैंकिंग मे देश के 10 टॉप कॉलेजों मे दिल्ली विश्वविद्यालय के मिरांडा हाउस ने पहला नंबर हासिल किया. इस रैंकिंग मे दिल्ली यूनिवर्सिटी के 6 कॉलेजों के साथ देश के अन्य कॉलेज भी शामिल थे इन सब में अव्वल आकर मिरिंडा हाउस ने यह खिताब जीता .
जानिए मिरांडा हाउस की खास बातें?
दिल्ली यूनिवर्सिटी के इस कॉलेज की नींव 7मार्च 1948 को लेडी इरविन माउंटबेटन ने रखी थी. मात्र 33 लड़कियों के साथ यह कॉलेज शुरु हुआ.
मिरांडा हाउस की फैकल्टी को बेस्ट इसलिए माना जाता है क्योंकि वे अपने कर्तव्य के प्रति बहुत समर्पित होते हैं.
फैकल्टी एजुकेशन के साथ-साथ स्टूडेंटस के पर्सनैलिटी डेवलपमेंट पर भी ध्यान देते हैं.
यह कॉलेज आर्टस और साइंस के कोर्सेस के लिए बेहतरीन जगह है.
यहां एजुकेशन की गुणवत्ता को मेंटेंन रखा गया है.
यहां से निकलने वाले स्टूडेंटस प्रतिष्ठित और ऊंचे संस्थानों में काम करते हैं.
यहां पढ़ने वाले स्टूडेंट्स को लाइब्रेरी, लैबोरेटरी, हॉस्टल, स्पोर्टस और प्लेसमेंट सेल की फैसलिटी मिलती है.
कॉलेज का हॉस्टल दिल्ली यूनिवर्सिटी के पुराने बिल्डिंग में से एक है.
यह कॉलेज अपनी सांस्कृतिक गतिविधियों के लिए भी जाना जाता है. यहां 20 से अधिक ग्रूप हैं जो संगीत, थिएटर के जरिए अपनी प्रस्तुति देते हैं.
एचआरडी मिनिस्ट्री के मिरांडा हाउस के कॉलेजों में टॉप रहने पर यहां की छात्राओं मे उत्साह है. उन्हें गर्व है कि वे इस इस कॉलेज की छात्राएं हैं . वुमनिया से बातचीत के दौरान यहां पढ़ने वाली छात्रा मोनिका ने कहा मुझे गर्व है कि मैंने अपनी पढाई के लिए मिरांडा हाउस को चुना. वे कहती हैं कि यह कॉलेज उन्हें उनके घर जैसा लगता है और यहां के शिक्षक हमेशा आगे बढ़ने की प्रेरणा देते हैं . उनके अनुसार यहां लड़कियों की परेशानियों को न केवल सुना जाता है बल्कि उसका हल भी निकला जाता है .
इसी कॉलेज की एक अन्य छात्रा कोमल का कहना है कि शुरुआत में उन्हें यह कॉलेज लडकी होने के कारण मां के कहने पर चुनना पड़ा पर उन्हें अब यह कॉलेज सबसे अच्छा लगता है . इस कॉलेज की ख़ास बात उन्हें लगती हैं कि यहां वीमेन पॉवर है, जो खुद को किसी से कमतर नहीं मानती . कोमल बताती हैं कि यहां स्टूडेंट यूनियन भी है जिसके सदस्य हमेशा सक्रिय रहते हैं. सेकंड ईअर में पढ़ रही मनि भाटिया को यहां का अनुशासन प्रभावित करता है . उनका मानना है कि कॉलेज में नियमों के प्रति अनुशासित रहना आवश्यक है. कड़े अनुशासन के कारण ही वह इस कॉलेज की छात्रा बनकर खुश हैं .
मिरांडा हाउस से ऑनर्स कर चुकी नैंसी सिंघानिया कहती हैं कि उन्होंने मिरांडा हाउस चुनने का फैसला स्त्रीवादी सोच के कारण लिया. उनका मानना है कि हर लडकी को जिंदगी में एक बार तो ऐसे कॉलेज का अनुभव जीना चाहिए . इससे वे समाज में फैली भद्दी मानसिकताओं से लड़ने के लिए खुद को तैयार कर पाएंगी . नैंसी इस कॉलेज की छात्रा रह चुकी मशहूर अभिनेत्री नंदिता दास को अपनी प्रेरणास्त्रोत मानती हैं . उन्हें इस बात पर गर्व है कि मिरांडा हाउस ने देश में सर्वश्रेष्ठ कॉलेज का खिताब जीता.
मिरांडा हाउस कॉलेज से कई नामचीन हस्तियां निकली हैं . इस कॉलेज से लगातार तीन साल दिल्ली की मुख्यमंत्री रहीं शीला दीक्षित ने इतिहास से एम.ए. किया है. लेफ्ट की नेता वृंदा करात ने भी यहीं से ग्रेजुएशन किया. प्रसिद्ध उपन्यासकार अनीता देसाई, अभिनेत्री नंदिता दास, मल्लिका शेरावत, मिनिषा लाम्बा, शिल्पा शुक्ला, मोनी रॉय समेत कई प्रसिद्ध चेहरों ने अपनी पढाई पूरी की .